Tuesday, March 26, 2019

पहचान लेंगे तुमको हवाओं में ...


छूप जाओ कहीं भी 
तुम इस जहाँ में
धड़कनों की गूंज 
ना छूपा पाओगी
ख़ुद को खुद से 
भूलना है मुमकिन 
मगर पहचान लेंगे 
तुमको हवाओं में 
बहती खुशबुओं से 

2 comments:

  1. बहुत सुन्दर
    सादर

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    1. सादर धन्यवाद एवं आभार...
      आशा है समय समय पर आपके सुझाव और मार्गदर्शन मिलते रहेंगे

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